Saturday, April 19, 2025
govthigh paid adsLatest Newsmiddle position adsmy adsUncategorizedकोरबा न्यूज़

कोरबा: मनरेगा से 60 महिलाओं को मिला मातृत्व भत्ता का लाभ…शिशुवती महिलाओं के चेहरे पर आई मुस्कान..

मातृ एवं शिशु देखभाल की दिशा में प्रभावी कदम

कोरबा 24 फरवरी 2022/महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना में कार्य करने वाली गर्भवती महिलाओं को प्रसूति अवधि के दौरान उनके एवं नवजात शिशुओं के देखभाल के लिए 60 महिलाओं को एक माह की मजदूरी राशि पांच हजार 790 रूपये प्रदाय की गई है। जिससे वह स्वयं और शिशु के बेहतर स्वास्थ्य के लिए उपयोग कर सकेंगी। कलेक्टर श्रीमती रानू साहू द्वारा जिले में महिला स्वास्थ्य, शिक्षा, सुपोषण एवं आजीविका संवर्धन हेतु नित नये अभिनव प्रयास किये जा रहे हैं। जिले में जहां एक ओर महिला स्वास्थ्य, शिशु पोषण हेतु 113 आधुनिक सुसज्जित आंगनबाड़ी भवन बनाये जा रहे है। वहीं दूसरी ओर मनरेगा के तहत जिले कीे 60 महिलाओं को प्रसूति अवधि के दौरान उनके बेहतर स्वास्थ्य के लिए एक माह की मजदूरी राशि उनके खाते में हस्तातंरित की गई है। यह राशि प्राप्त करके शिशुवती महिलाओं के चेहरे पर मुस्कान आ गई है। 

 जिला पंचायत के सीईओ श्री नूतन कंवर ने बताया कि इस वित्तीय वर्ष में जनपद पंचायत कोरबा में 09, करतला में 13, कटघोरा में 09, पाली में 12 एवं पोड़ी उपरोड़ा मे 17 कुल 60 पंजीकृत शिुशुवती महिलाओं को मातृत्व भत्ता के रूप में प्रति महिला पांच हजार 790 रूपये की दर से राशि उनके खाते में हस्तांतरित कर दी गई है। मनरेगा के अंतर्गत कार्यरत् गर्भवती महिलाओं को प्रसूति अवधि के दौरान मांग के आधार पर एक माह की मजदूरी के बराबर राशि ‘‘मातृत्व अवकाश भत्ता‘‘ के रूप में दी जाती है। यह राज्य पोषित योजना है। इस योजना का उद्देश्य प्रसूति अवधि के दौरान जॉब कार्डधारी महिलाओं के स्वास्थ्य में सुधार तथा स्वास्थ्य शिशु जन्म के लिए सहायता उपलब्ध कराना है। 

मातृत्व भत्ते के लिए पात्रता-आवेदित महिला का नाम मनरेगा के अंतर्गत पंजीकृत परिवार को जारी जॉब कार्ड में अंकित होना चाहिए। आवेदित महिला द्वारा मनरेगा के अंतर्गत विगत 12 माह में कम से कम 50 दिवस का कार्य किया हो। मातृत्व भत्ता के लिए जीवित शिशु जन्म होने बाबत् अनिवार्यता नहीं है, अर्थात (स्टिल बर्थ) अभी जन्मे बच्चे की स्थिति में भी यह भत्ता दिया जावेगा। मातृत्व भत्ता हेतु आवेदन आवेदिका को संबंधित ग्राम पंचायत में जमा करना होता है। आवेदन के साथ गर्भधारण की पुष्टि हेतु निकटस्थ मितानिन द्वारा जारी प्रमाण पत्र संलग्न किया जाता है। सामान्यतः आवेदन गर्भधारण के तृतीय तिमाही से पूर्व या दौरान दिया जाता है लेकिन यदि किसी आवेदिका द्वारा इस अवधि में आवेदन नहीं दिया गया हो, तो उन्हें मातृत्व भत्ता से वंचित नहीं रखा जाएगा, बशर्त प्रसूति के एक माह के अंदर आवेदन प्रस्तुत किया गया हो। मातृत्व भत्ते के तहत महिला को प्राप्त राशि उसके द्वारा किये गये कार्य तथा बेराजगारी भत्ते के लिए किये भुगतान की राशि के अतिरिक्त होती है।